मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि राज्य शासन और भारत सरकार की बहुत सारी योजना प्रदेश में संचालित है। सभी योजनाओं को प्रदेश की अंतिम व्यक्ति तक पहुचाने की आवश्यकता है, कलेक्टर ध्यान रखे कि जिला प्रशासन की तरफ से योजना पहुचाने में किसी भी तरह की कोताही न हो, ढिलाई बर्दास्त नहीं की जाएगी। हमारे प्रधानमंत्री अपने आपको प्रधानमंत्री नही मानते वो भी अपने आपको जनसेवक ही मानते हैं। हम सब भी लोक सेवक हैं, हम सबका उद्देश्य जनसेवा है। कलेक्टर से लेकर पटवारी तक और एसपी से लेकर आरक्षक तक हम सबको जनता की सेवा में तत्पर रहना होगा।
कामों को टालने की प्रवृत्ति राजस्व अधिकारी बदले
मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि राजस्व विभाग में कई तरह की शिकायत मिल रही हैं। ग्रामीण स्तर में पटवारी, आरआई द्वारा बंटवारा, नामातंरण का काम ठीक से और त्वरित रूप से नही होने की शिकायत प्राप्त हो रही है। मुख्यमंत्री ने कहा कि कामों को टालने की पुरानी व्यवस्था को तत्काल बदले। सभी कलेक्टर यह सुनिश्चित करें कि राजस्व विभाग से संबंधित शिकायत ना आने पाए। आम जनता को परेशानी का सामना न करना पड़े। जो भी आवश्यक दस्तावेज की जरूरत राजस्व विभाग के अधिकारियों से हो लोगों को तत्काल मिल जाए।
अधिकारी-कर्मचारियों की समय पर उपस्थिति सुनिश्चित करें
मुख्यमंत्री ने कहा कि 5 दिन का सप्ताह हो गया है, 5 दिन पूरे तन्मयता से कार्य हो। दफ्तरों में सभी समय पर उपस्थित हो जाये यह सुनिश्चित किया जाए। पूरी पारदर्शिता के साथ प्रदेश सरकार और भारत सरकार की योजना लोगों तक पहुचे इस ओर जिला प्रशासन ध्यान दे। हमारी सरकार की प्रतिबद्धता है कि अपने प्रदेश में सुशासन देंगे। इस पर भी आप लोग विशेष ध्यान दे। हमारे प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी विकसित भारत की बात करते हैं, हमें भी विकसित छत्तीसगढ़ और विकसित जिला बनाने की आवश्यकता है, उसी के अनुरूप कार्य हों।
कलेक्टर-एसपी के कार्य से ही सरकार की छवि बनती है। जिला प्रशासन के अच्छे कार्य से ही जनता आप लोगों की तारीफ हमसे करती है। आप लोगों की तारीफ जनता से हमे प्राप्त होने चाहिए। हमारे किसान अन्नदाता है और छत्तीसगढ़ में ज्यादातर किसान ही है। जिला प्रशासन यह सुनिश्चित करे कि किसानों को दफ्तरों का चक्कर न लगाना पड़े। किसानों का कार्य समयावधि में पूरा हो यह सुनिश्चित किया जाए।
डीएमएफ फंड का दुरूपयोग न हो
डीएमएफ फंड में भारी भ्रष्टाचार पिछली सरकार में हुआ है। डीएमएफ फंड की राशि खनन प्रभावित क्षेत्र के विकास के लिए होती है। स्वास्थ्य, शिक्षा, पेयजल, सड़क और आजीविका के साधन उपलब्ध कराने के लिए यह राशि खर्च की जाए। डीएमएफ की राशि की उपयोग के लिए भारत सरकार से नियम तय है, नियमानुसार ही यह राशि ख़र्च हो। इस पर सख्ती से ध्यान दिया जाए, इस राशि का बिल्कुल भी दुरुपयोग नही होना चाहिए।
कार्य एजेंसी और ठेकेदार पर निगरानी रखें
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जल जीवन मिशन के माध्यम से हर घर में नल के माध्यम से पानी पहुंचाना चाहते हैं, इसलिए इन कार्यो को योजनाबद्ध तरीके से पूर्ण कराया जाए। सबसे पहले जल स्रोतों का पता लगाया जाए, इसके बाद टंकी बनाने, पाइप लाइन बिछाने का काम किया जाए। जलजीवन मिशन योजना से लोगों को लाभ हो, पेयजल मिले यह सुनिश्चित हो। कार्य एजेंसी और ठेकेदार पर निगरानी हो ताकि सही कार्य हो सके।
तेंदूपत्ता संग्राहकों को समय पर पारिश्रमिक का भुगतान करें
तेंदूपत्ता खरीदी का समय आ गया है, शासन द्वारा प्रति मानक बोरा 5500 की दर निर्धारित की गई है। यह ध्यान रखें कि तेंदूपत्ता संग्रहकों समय पर पारिश्रमिक भुगतान तथा उनके उनके लिए चलाई जा रही योजनाओं का लाभ मिले। ग्रामीण क्षेत्रों में मनरेगा के कार्य ठीक से चलें और समय पर भुगतान हो। मजदूरी के लिए मजदूरों को भटकना न पड़े। जितने भी स्वीकृत कार्य है, समय पर कार्य प्रारंभ हो और पूरा हो यह भी सुनिश्चित की जाएं।
प्रधानमंत्री आवास योजना में तेजी लाएं
प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत हमारी सरकार ने 18 लाख प्रधानमंत्री आवास बनाने का निर्णय लिया है। प्रधानमंत्री आवास योजना के पात्र हितग्राहियों को पिछले 5 साल में आवास मिलना था वे मकान से वंचित हो गए थे और जिनके घर का कार्य अधूरा है जिसके कारण उन्हें बिना छत के रहना पड़ा। उन सभी मकानों को तेजी से पूर्ण कराया जाए। इस योजना की जिला स्तर पर निरंतर समीक्षा की जाए। राशन कार्ड के नवीनीकरण का कार्य शीघ्र पूर्ण किया जाए एवं राशनकार्डधारियों को खाद्यान्न का समय पर वितरण सुनिश्चित किया जाए।
बैंकों से लोगों को राशि आहरण करने में न हो कठिनाई
महतारी वंदन योजना के तहत 70 लाख से अधिक पात्र महिलाओं के बैंक खातों में योजना पहली किश्त भेज दी है। इसी तरह कृषक उन्नति योजना की राशि भी किसान भाइयों को भेज दी गई है। उपरोक्त राशि के आहरण में हितग्राहियों को किसी प्रकार की कठिनाई न हो, इस संबंध में बैंकों में आवश्यक व्यवस्थाएं सुनिश्चित की जाएं। डॉयरेक्ट बेनिफिट स्कीमों में शासन की ओर से राशि अंतरित किए जाने के बाद भी कुछ हितग्राहियों को खातों में राशि न पहुंच पाने की शिकायत रहती है, उनका तत्काल संज्ञान लेते हुए उचित निराकरण सुनिश्चित किया जाए। प्रधानमंत्री आवास योजना, आयुष्मान कार्ड, उज्ज्वला योजना, जन-धन खाता, सुरक्षा बीमा योजना आदि सभी योजनाओं में हमें सेच्युरेशन की स्थिति प्राप्त करनी है। अतः इस लक्ष्य को केंद्र में रखकर कार्य किया जाए।
बस्तर में सुरक्षा कैंप की छवि सुविधा कैंप के रूप होनी चाहिए
मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि बस्तर के मावोवादी आंतक को नियंत्रित करने के लिए स्थापित किए गए सुरक्षा कैंप की छवि लोगों में सुविधा केंप के रूप होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि हमारी सरकार ने लोगों को बुनयादी सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए नियद नेल्लानार योजना शुरू की है। इस योजना में कैंप के आसपास के 5 किलोमीटर के दायरे के गांव में लोगों को सभी प्रकार की बुनियादी सुविधाएं दी जानी है। इसका बेहतर क्रियान्वयन किया जाए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि पिछले दिनों हुए पुलिस अधीक्षक कांफ्रेस में दिए गए निर्देशों का पालन फील्ड में दिखना शुरू हुआ है लेकिन फिर भी पुलिस विभाग में अभी और कसावट लाने की आवश्यकता है। अपराधियों में कानून का भय होना चाहिए और आम नागरिक सभी तरह से भयमुक्त होने चाहिए। आम नागरिक भयमुक्त होकर सहजता से जीवन यापन कर सकें, हमें ऐसे वातावरण का निर्माण करना है। महिलाओं से संबंधित अपराध पर पूरी तरह अंकुश लगना चाहिए। उन्होंने कहा कि देश में नए कानून लागू हो चुके हैं। इन नए कानूनों के अनुरूप पुलिस को स्वयं को ढालना होगा और प्रशिक्षण प्राप्त करना होगा। बस्तर में हमने नियद नेल्लानार योजना शुरू की है। इस योजना के क्रियान्वयन में आप लोगों की आपसी तालमेल के साथ-साथ जनभागीदारी की भूमिका भी बहुत महत्वपूर्ण होगी।
कलेक्टर-एसपी कांफ्रेस में मुख्य सचिव श्री अमिताभ जैन, डीजीपी श्री अशोक जुनेजा, एडीजी इंटेलिजेंस श्री अमित कुमार, मुख्यमंत्री सचिवालय के सचिव श्री राहुल भगत, सामान्य प्रशासन विभाग के सचिव श्री मुकेश बंसल, मुख्यमंत्री के सचिव श्री दयानन्द पी. और डॉ. बसवराजू एस. उपस्थित थे।